श्री मोदी उवाच ! - हमने बोल दिया था राहुल जी न्यूक्लिअर ब्लैकमेलिंग नहीं सहेंगें

परमाणु धमकी का "राहुल-युग": एक व्यंग्य

 तो जनाब, देश में एक नया ड्रामा शुरू हो चुका है! एक तरफ़ माननीय नरेंद्र मोदी जी ने साफ़-साफ़ चेतावनी दी कि "न्यूक्लियर ब्लैकमेलिंग का ज़माना गया", और दूसरी तरफ़ हमारे "परमाणु प्रिंस" राहुल गांधी जी बार-बार परमाणु और हाइड्रोजन बम की धमकियां दे रहे हैं। अरे भाई, ये तो वही बात हो गई कि एक तरफ़ टीचर कह रहा है "क्लास में शोर मत करो", और स्टूडेंट पीछे से "बम! बम!" चिल्ला रहा है। 😂


कभी कहते हैं, "परमाणु बम फोड़ देंगे!", कभी बोलते हैं, "हाइड्रोजन बम से सब उड़ा देंगे!" अरे राहुल जी, ये संसद है या साइंस फिक्शन मूवी का सेट? और वो भी बिना स्क्रिप्ट के! 😜 एक बार तो सोच लिया करें कि बम की बात करने से पहले देश का मूड तो पढ़ लें। जनता तो बस ये सोच रही है, 

"भाई, बम छोड़ो! पहले अपनी ब्रिटेन की नागरिकता तो दिखाओ। वहाँ भी मुस्लिम राष्ट्र की माँग हो रही है, कुछ तो करो! यहाँ बम काम नहीं कर रहा, तो ब्रिटेन में परमाणु परीक्षण कर लो।"

और हद तो तब हो गई जब राहुल जी ने कहा, "हम हाइड्रोजन बम बनाएंगे!" अरे, हाइड्रोजन बम तो छोड़िए, पहले अपने भाषणों में थोड़ा "लॉजिक का हाइड्रोजन" डाल दीजिए, वही काफ़ी है। 😅 जनता को लग रहा है कि राहुल जी ने शायद "पोखरण टेस्ट" को "पॉकेटमनी टेस्ट" समझ लिया है।

मोदी जी ने तो साफ़ कर दिया कि "ब्लैकमेलिंग नहीं चलेगी", लेकिन राहुल जी का "परमाणु प्रेम" थमने का नाम नहीं ले रहा। अब तो बस यही दुआ है कि अगली बार वो "बम" की जगह "बम गोलगप्पे" की बात करें, ताकि देश का माहौल थोड़ा हल्का हो जाए। 😉

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